वो फिर नहीं आते ....
फूल खिलते हैं, लोग मिलते हैं
फूल खिलते हैं, लोग मिलते हैं मगर
पतझड़ मे जो फूल मुरझा जाते हैं
वो बहारों के आने से खिलते नहीं
कुछ लोग एक रोज़ जो बिचड़ जाते हैं
वो हजारों के आने से मिलते नहीं
उम्रभर चाहे कोई पुकारा करे उनका नाम
वो फिर नहीं आते , वो फिर नहीं आते
ज़िन्दगी के सफ़र मे, गुज़र जाते हैं जो मक़ाम
वो फिर नहीं आते, वो फिर नहीं आते
Comments